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स्टेशन रोड कब्रिस्तान कमेटी ने प्रेस नोट जारी कर “क्रिश्चियन कब्रिस्तान” को वक़्फ़ बोर्ड में दर्ज कराने वाली ख़बर को बताया भ्रामक प्रचार

ByM. Farid

Nov 18, 2024

स्टेशन रोड कब्रिस्तान कमेटी ने प्रेस नोट जारी कर क्रिश्चियन कब्रिस्तान को वक़्फ़ बोर्ड में दर्ज कराने वाली ख़बर को स्टेशन रोड कब्रिस्तान कमेटी ने प्रेस नोट जारी कर क्रिश्चियन कब्रिस्तान को वक़्फ़ बोर्ड में दर्ज कराने वाली ख़बर को बताया भ्रामक प्रचार

देवास 18-11-2024

सोमवार सुबह से ही एक खबर ने सबका ध्यान अपनी और आकर्षित किया। द ग्रेस चर्च देवास की और से जारी किए गए एक पत्र में भोपाल वक्फ बोर्ड तथा देवास स्टेशन रोड कब्रिस्तान वक़्फ़ कमेटी पर बड़ा आरोप लगाते हुए क्रिश्चियन कब्रिस्तान को अवैध रूप से वक़्फ़ बोर्ड में दर्ज होना बताया गया।
अब इसे लेकर स्टेशन रोड कब्रिस्तान कमेटी देवास ने एक प्रेस नोट जारी किया है। जिसके मुताबिक देवास स्टेशन रोड स्थित सार्वजनिक मुस्लिम समाज कब्रिस्तान व क्रिश्चियन कब्रिस्तान अलग-अलग सर्वे पर दर्ज है भौगोलिक स्थिति भी अलग-अलग है, भूमि सर्व नंबर,83,84,85 पर वक्फ कब्रिस्तान दर्ज है          फाइल फोटो

जिसका उपयोग मुस्लिम समुदाय अपने परिवारजनों की होने वाली मैय्यत को लगभग 100 वर्षों से दफनाते आए हैं, पड़ोस में ही द ग्रेस चर्च क्रिश्चियन कब्रिस्तान स्थित है जो की सर्वे नंबर 82 पर दर्ज है,

सन 1941-42 से के भी पूर्व सर्वे नंबर 82 द ग्रेस चर्ज कब्रिस्तान में दर्ज है, जिसका सीट क्रमांक 21 भूखंड क्रमांक 5 ब्लॉक क्रमांक एक है जो की सन 2019 तक दर्ज था ऐसी क्या आपदा विपदा आन पड़ी की 2020 के 23 के बीच में 82 की बजाय सर्व क्रमांक 83 की कुछ भूमि द ग्रेट चार्ज कब्रिस्तान बताया जा रहा है आवेदन में वह मीडिया में, तथा क्रिश्चियन समाज के लोग अपने परिवार में होने वाली मैय्यत/शव को वहां दफनाते है, जिसकी पक्की वाल बाउंड्री बनी हुई है। राजस्व विभाग के कुछ कर्मचारियों की मिले भगत के कारण मुस्लिम समाज के कब्रस्तान भूमी के सर्वे नंबर 83, के कुछ भाग को सन 2020/ 23 के बीच एक आवेदन पत्र पर जांच रिपोर्ट में क्रिश्चियन समाज को रिपोर्ट में पटवारी व राजस्व निरीक्षक द्वारा कब्रिस्तान की भूमि को क्रिश्चियन कब्रिस्तान का कुछ भाग बताया गया जो की निराधार वह बेबुनियाद है,रिकॉर्ड में हेर फेर किया गया है ऐसि सम्भावना है,? जो की बहुत ही गलत है। और इससे समाज में भ्रम पैदा हो रहा है।
ईसाई समुदाय ने भी उनकी कब्र्सतान की स्तिथि को लेकर तहसीलदार देवास को 2020, में आवेदन किया था उसमे भी जानकारी दी गई थी। जिससे यह स्पष्ट हे कि राजस्व विभाग में ही कोई न कोई, व्यक्ति हे, जो अपनी स्वार्थ सिद्ध के कारण शहर की फिजा बिगाड़ने की कोशिश कर रहा है। इस संबंध में वक्फ कमेटी और मुस्लिम समाज द्वारा भी जिला प्रशासन को लिखित में उक्त शिकायत की गई थी जिसके , उच्च स्तरीय जांच करवाकर दोषियों के खिलाफ दंडात्मक कार्रवाई करने का अनुरोध भी किया गया था।साथ ही कब्रस्तान भूमि की भूमि सर्वे क्रमांक 83 पर पड़ोस में रहने वाले अतिक्रमण कर्ता बालजीत सिंह सलूजा पिता गुरूबक्ष सिंह और परिजनों द्वारा अवैध अतिक्रमण कर,अवैध दुकान, बनाने की कोशिश की गई, जिसे,11, नवम्बर 2024 मध्य प्रदेश, वक्फ बोर्ड माननीय मुख्य कार्यपालन अधिकारी महोदय , द्वारा जिला प्रशासन को उक्त अतिक्रमण को तत्काल हटाने के निर्देश दिए गए, जिस पर जिला प्रशासन द्वारा रोक लगा दी गई। वक़्फ़ कब्रिस्तान कमेटी द्वारा अतिक्रमणकर्ता पर बड़ा आरोप लगाते हुए उसके द्वारा खुन्नस के रूप में, संभवत क्रिश्चियन समाज उनके कुछ साथियों को भ्रामक जानकारी देकर कब्रिस्तान का मुद्दा समाचार पत्र/ मीडिया में बनाया गया,? जबकि अतिक्रमणकर्ता सिविल न्यायालय व कोर्ट से भी हार चुके हैं और अब मामला उच्च न्यायालय में , विचाराधीन है, उसके बाद में भी उनके द्वारा चद्दर की आड़ में पक्का निर्माण किया जा रहा था,!
स्टेशन रोड वक़्फ़ कब्रिस्तान कमेटी ने मीडिया समूहों से अनुरोध किया है कि ऐसी खबरो के प्रसारण से बचें जिससे शहर के सामाजिक सौहार्द पर असर पड़ता है। कमेटी के अनुसार आज भी “द ग्रेस चर्च कब्रिस्तान” वक्फ में दर्ज नहीं है।

आपको बता दे कि लगभग 100 वर्षों पुराना ये कब्रिस्तान विवाद के चलते पीछले एक वर्ष से बंद है। जिसका प्रकरण माननीय High Court में विचाराधीन है।

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